राजनीति में बेहतर आचरण और भाषा की महत्वपूर्णता पर जोर

कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट ने राजनीति में भाषा और आचरण की अहमियत पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि देश और प्रदेश के अधिकांश दलों में कुछ लोग भाषा की सीमा को नियंत्रित नहीं रखते हैं, जो उन्हें दुखदाई लगता है। पायलट ने सभी से अनुरोध किया कि राजनीतिक विरोध सैद्धांतिक और वैचारिक रूप से होना चाहिए, लेकिन भाषा और आचरण हमेशा अच्छा होना चाहिए।
उन्होंने बीजेपी प्रदेश प्रभारी राधामोहन दास अग्रवाल पर बिना नाम लिए व्यक्तिगत आलोचना करने और ओछे शब्दों का उपयोग करने की आलोचना की, यह कहते हुए कि ऐसी भाषा हमारे देश की परंपरा नहीं है। पायलट ने राजनीति में पब्लिक लाइफ के महत्व पर भी जोर दिया और कहा कि हमारा आचरण, भाषा और कार्यप्रणाली ऐसी होनी चाहिए जिससे हमें गर्व महसूस हो।
गांव में बिताई रात, दलित परिवार के घर खाना खाया
पायलट ने टोंक जिले के चिमनपुरा गांव में रात बिताई और स्थानीय किसान रतनलाल बैरवा के घर पर खाना खाया। साग, हरी मिर्ची की सब्जी और मालपुआ जैसे पारंपरिक व्यंजन उनका स्वागत करने के लिए परोसे गए, जिसे पायलट ने बहुत आत्मीयता से खाया। इसके बाद उन्होंने रतनलाल बैरवा के घर ही रात बिताई। पायलट ने सुबह ग्रामीणों से मुलाकात की और उनके साथ चाय पीते हुए उनका हालचाल लिया।
ग्रामीणों से जुड़ाव और उनकी समस्याओं को समझना जरूरी
पायलट ने कहा कि पब्लिक लाइफ में हार-जीत या सत्ता का उतार-चढ़ाव चलता रहता है, लेकिन जनता से जुड़ाव बनाए रखना महत्वपूर्ण है। उन्होंने युवाओं को सलाह दी कि वे मेहनत करें और जनता से जुड़ें रहें, विशेषकर ग्रामीण इलाकों के लोगों के साथ।